Saturday, January 23, 2021

युवा साथी संगठन की ओर सुभाष चंद्र बोस के 125 वीं जयंती मनाई गई।

 #डुमरी प्रखंड के अंतर्गत झारखंड #कॉलेज डुमरी के मैदान पर 

#युवा साथी संगठन के द्वारा #नेताजी सुभाष चंद्र बोस #125वीं #जयंती मनाया गया

#तुम मुझे #खून दो मैं तुम्हें आजादी #दूँगा का नारा #बुलंद करने #वाले, आजाद हिंद #फौज की #स्थापना कर अंग्रेजी #हुकूमत की #बुनियाद हिलाने वाले, महान #स्वतंत्रता सेनानी और हम #युवाओं के आदर्श #नेताजी सुभाषचंद्र बोस जी के #जयंती पर उन्हें #कोटि-कोटि नमन

 जिसमें मुख्य रूप उपस्थित हुए जितेंद्र महतो ,धानेश्वर महतो सुशील कुमार, मनोज महतो, दीपक कुमार, मिथलेश कुमार, किशोर कुमार ,मुकेश कुमार, मोहन कुमार, बासुदेव प्रसाद, लखन कुमार पंकज कुमार ,गौतम कुमार ,शंभू कुमार, संतोष कुमार महतो, जयराम  महतो, विशाल कुमार महतो ,एवं रविंद्र कुमार ,बालेश्वर कुमार ,सुनील कुमार, विक्की कुमार ,अजय महतो ,नरेश महतो, दुलारचन्द महतो ,सुनिल महतो  मौजूद थे


नेताजी सुभाष चंद्र बोस जक्शन गोमो में युवा साथी संगठन की ओर से सुभाष चंद्र बोस के 125 वीं जयंती पर श्रद्धांजलि अर्पित किया।

 नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती पर गोमो जंक्शन युवा साथी संगठन तोपचांची के द्वारा श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए

   टाइगर जयराम महतो ने कहा

  की  नेताजी सुभाष चंद्र बोस और आजाद हिंद फौज गौरवशाली इतिहास हम सभी के लिए प्रेरणादायक है  की भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के वीर सेनानी नेताजी सुभाष चंद्र बोस के 125वीं जयंती पर उन्हे कोटि कोटि नमन करता हूं 

अजेय साहस और अपूर्व त्याग के द्वारा कर्म साधना का जो आदर्श उन्होंने उपस्थित उसे कमी विस्मृत नहीं किया जा सकता उनके बलिदान के कारण जनता ने अपने इस प्रिय लाडले को नेताजी की उपाधि से विभूषित  किया सुभाष चंद्र बोस दार्शनिक नहीं रुके कर्मयोगी थे उनकी मान्यता थी कि शक्तिशाली आवाज में ही दम होता है साहसी  व्यक्तियों के कार्य सफल होते हैं

  वे अपने अधिकारों की प्राप्ति के लिए सशस्त्र संघर्ष के भी पक्षधर थे सुभाष चंद्र बोस औपनिवेशिक स्वराज के विरोधी थे यद्यपि गांधी के सिद्धांतों से उनका मतभेद बराबर बना रहा परंतु गांधीजी की व्यक्ति के रूप में इज्जत करते थे महायुद्ध के दौरान सुभाष ने स्वाधीनता के लिए संघर्ष किया और कहा हमारी मातृभूमि स्वतंत्रता की खोज में है तुम मुझे खून दो मैं तुम्हें आजादी देता हूं यह स्वतंत्रता देवी की मांग नेताजी की पुकार पर सहस्त्र लोगों ने हाथ खड़े किए तब नेताजी बोले ऐसे नहीं अपने रक्त से प्रतिज्ञा पत्र पर हस्ताक्षर करने होंगे 

जिसमे मुख्य रूप से उपस्थित  गौतम कुमार पंकज कुमार शंभू कुमार अजय कुमार मनोज महतो दीपक कुमार सुनील महतो संतोष कुमार महतो विशाल कुमार महतो एवं सुनील कुमार विक्की कुमार पुरंजन कुमार मंडल इत्यादि मौजूद थे